रिश्ते नाते ताक पर रख
सत्ता के लिये जोर आजमाई
चलाखी से चले है हाथापाई
रिश्तो पे है कैसी आपदा गहराई
आद्य गुरुओं के चरणो मे त्रिवार वंदन कर
शीश नमाते है .
मा पापा से मिला जो प्यार दुलार है उनसे
मिले संस्कारो का करते सत्कार है.
जीवन साथी को प्यार भरा नमस्कार है
मेरे हिंदी काव्य संग्रह की शुरुवात है
प्रस्तुत कविता संग्रह मे कुल 40 कविताओ का समावेश है.
प्रगती दाभोलकर जी के बहूमूल्य सहयोग से
मेरा ये काव्यसंग्रह फूलाफला है.